
रेलवे ने अपने लाखों यात्रियों के लिए एक बड़ा निर्णय लिया है। देशभर में टिकट बुकिंग और रिजर्वेशन चार्ट की प्रक्रिया में महत्वपूर्ण परिवर्तन की घोषणा की गई है।
ये नए नियम 1 जुलाई 2025 से पूरे भारत में लागू कर दिए जाएंगे।
इन परिवर्तनों का सीधा असर उन करोड़ों यात्रियों पर पड़ेगा, जो प्रतिदिन रेलवे से सफर करते हैं।
नया चार्टिंग सिस्टम: अब 8 घंटे पहले होगा पहला चार्ट
अब तक, भारतीय रेलवे ट्रेन के रवाना होने से चार घंटे पहले पहला रिजर्वेशन चार्ट तैयार करता था।
मगर नई व्यवस्था के तहत यह चार्ट अब आठ घंटे पहले बनाया जाएगा।
इससे यात्रियों को सीट कन्फर्मेशन की स्थिति पहले ही पता चल जाएगी, जिससे उनकी यात्रा योजना अधिक व्यवस्थित हो सकेगी।
वेटिंग लिस्ट में फंसे यात्री भी तय कर पाएंगे कि उन्हें वैकल्पिक साधन देखना चाहिए या नहीं।
भारत पल्स न्यूज के अनुसार, यह फैसला विशेष रूप से लंबी दूरी की ट्रेनों में टिकट की कन्फर्म स्थिति समय रहते जानने के लिए बेहद मददगार होगा।
रेलवे बोर्ड के अधिकारियों का मानना है कि इस बदलाव से रिजर्वेशन सिस्टम पारदर्शी और तेज बनेगा।
अंतिम चार्ट में नहीं होगा कोई समझौता
पहला चार्ट आठ घंटे पहले तैयार होने के बावजूद, रेलवे ने स्पष्ट किया है कि अंतिम चार्ट ट्रेन के प्रस्थान से 30 मिनट पूर्व ही तैयार होगा।
इससे अंतिम समय में रद्द टिकटों पर यात्रियों को मौका मिलेगा और कोई भी सीट खाली नहीं जाएगी।
यात्रियों के बीच कई बार यह भ्रम रहता था कि अंतिम चार्ट जल्द बन जाने पर उन्हें सीट नहीं मिलेगी।
नई व्यवस्था इस भ्रम को भी दूर करेगी।
रेल प्रशासन के अनुसार, यह बदलाव तकनीकी दृष्टिकोण से भी बड़ा कदम है।
अब IRCTC और PRS सिस्टम को इस नए चार्ट समयानुसार अपडेट किया जाएगा ताकि सभी आंकड़े रीयल टाइम पर दिखें।

तत्काल टिकटों में भी होगा बदलाव, अब OTP आधारित होगा बुकिंग सिस्टम
रेल मंत्रालय ने तत्काल टिकटों की बुकिंग में भी एक और अहम बदलाव किया है।
अब 1 जुलाई से तत्काल टिकट बुकिंग के लिए आधार कार्ड से OTP सत्यापन अनिवार्य होगा।
इससे दलालों और बिचौलियों की धांधली पर नकेल कसी जा सकेगी।
कई बार देखा गया था कि एजेंट बड़ी संख्या में फर्जी आईडी पर टिकटें निकाल लेते थे, जिससे आम यात्री को टिकट नहीं मिल पाता था।
भारत पल्स न्यूज की पड़ताल में सामने आया है कि इस नये नियम से न केवल बुकिंग प्रणाली में पारदर्शिता आएगी, बल्कि नकली बुकिंग को भी रोका जा सकेगा।
रेलवे अधिकारियों ने बताया कि इससे genuine यात्रियों को ही प्राथमिकता मिलेगी।
टिकटिंग सिस्टम होगा और भी स्मार्ट, बढ़ाई जाएगी बुकिंग क्षमता
भारतीय रेलवे के मुताबिक, इस साल के अंत तक PRS सिस्टम को अपग्रेड कर उसकी क्षमता 32 हजार टिकट प्रति मिनट से बढ़ाकर 1.5 लाख टिकट प्रति मिनट की जाएगी।
यह तकनीकी क्रांति यात्रियों को तुरंत टिकट कन्फर्मेशन देने में मदद करेगी।
अब त्योहारों, गर्मियों या विशेष अवसरों पर बुकिंग साइट ठप पड़ने जैसी दिक्कतें भी कम होंगी।
रेलवे मंत्रालय का दावा है कि नए सिस्टम में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की भी मदद ली जाएगी।
AI आधारित सिस्टम सीटों के रिक्त रहने और बुकिंग ट्रेंड्स पर नजर रखेगा।
इससे भविष्य में भीड़भाड़ वाली ट्रेनों में अतिरिक्त कोच जोड़ने का भी त्वरित निर्णय लिया जा सकेगा।
यात्रियों में दिखी राहत की सांस, मगर कुछ ने जताई चिंता
इन नये नियमों को लेकर यात्रियों में मिली-जुली प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है।
कई लोगों ने भारत पल्स न्यूज से बातचीत में कहा कि आठ घंटे पहले चार्ट बनने से उन्हें वैकल्पिक साधन ढूंढने में सहूलियत होगी।
वहीं, कुछ लोगों का यह भी कहना है कि अगर चार्ट में गड़बड़ी या टिकट कन्फर्मेशन की गलती हो गई, तो सुधार का समय कम रह जाएगा।
हालांकि रेलवे का दावा है कि तकनीकी टीम 24×7 सक्रिय रहेगी और किसी भी तकनीकी गड़बड़ी को तुरंत ठीक किया जाएगा।
रेलवे प्रवक्ता ने कहा, “हम यात्रियों के विश्वास को बनाए रखने के लिए हर संभव उपाय कर रहे हैं। नई व्यवस्था से लाखों लोगों को सीधा फायदा मिलेगा।”
नजरिया भारत पल्स न्यूज का : एक बड़ा सुधार, जो भविष्य की यात्रा को और सहज बनाएगा
नए नियमों के लागू होते ही रेलवे की टिकटिंग व्यवस्था अधिक व्यवस्थित, तकनीकी और पारदर्शी हो जाएगी।
चार्टिंग के समय में बदलाव, OTP आधारित तत्काल टिकट प्रणाली और अपग्रेडेड PRS सिस्टम निश्चित ही भारत की रेल यात्रा को और स्मार्ट बनाएंगे।
भारत पल्स न्यूज की रिपोर्ट में सामने आया है कि यह सुधार करोड़ों यात्रियों की यात्रा को न सिर्फ सुरक्षित, बल्कि भरोसेमंद भी बनाएगा।
अब देखना यह है कि 1 जुलाई से लागू यह नई व्यवस्था कितनी सफल रहती है और यात्री इसे कैसे अपनाते हैं।
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